नमस्कार, प्रिय पाठकों! आज हम बात करेंगे लहसुन और प्याज की कीमतों में आई तेज़ी के बारे में। हाल ही में, इन आवश्यक सब्ज़ियों के दामों में अप्रत्याशित वृद्धि देखी गई है, जिसने न केवल किसानों बल्कि उपभोक्ताओं को भी चौंका दिया है। आइए, जानते हैं इस मूल्य वृद्धि के पीछे के कारण और आज के ताज़ा मंडी भाव।
लहसुन के दामों में उछाल
लहसुन की कीमतों में हाल के दिनों में तेज़ी से वृद्धि हुई है। Commodity Online के अनुसार, वर्तमान में लहसुन का औसत मूल्य ₹12,766.67 प्रति क्विंटल है, जिसमें न्यूनतम मूल्य ₹7,000 और अधिकतम मूल्य ₹16,500 प्रति क्विंटल तक पहुंच गया है। यह वृद्धि एक दिन में ही सारे पुराने रिकॉर्ड तोड़ चुकी है।
प्याज की कीमतों में तेजी
प्याज की कीमतों में भी उल्लेखनीय बढ़ोतरी देखी गई है। कृषि दुनिया की रिपोर्ट के अनुसार, इंदौर मंडी में एक्स्ट्रा क्वालिटी प्याज का मूल्य ₹2,800 से ₹3,000 प्रति क्विंटल तक पहुंच गया है, जबकि सुपर प्याज ₹2,500 से ₹2,800 प्रति क्विंटल के बीच बिक रहा है। यह वृद्धि उपभोक्ताओं के लिए चिंता का विषय बन गई है।
मूल्य वृद्धि के कारण
इन सब्ज़ियों की कीमतों में वृद्धि के पीछे कई कारण हो सकते हैं:
- कम उत्पादन: मौसम संबंधी समस्याओं के कारण लहसुन और प्याज का उत्पादन कम हुआ है, जिससे आपूर्ति में कमी आई है।
- बढ़ती मांग: सर्दियों के मौसम में इन सब्ज़ियों की मांग बढ़ जाती है, जिससे कीमतों में उछाल आता है।
- भंडारण और आपूर्ति में कमी: कुछ व्यापारियों द्वारा स्टॉक करने के कारण बाजार में उपलब्धता कम हो जाती है, जिससे दाम बढ़ते हैं।
आज के ताज़ा मंडी भाव
आज, 18 फरवरी 2025 को, विभिन्न मंडियों में लहसुन और प्याज के ताज़ा भाव इस प्रकार हैं:
लहसुन के भाव
- उत्तर प्रदेश: श्रावस्ती मंडी में लहसुन का मूल्य ₹7,000 से ₹8,000 प्रति क्विंटल तक है।
- गुजरात: राजकोट मंडी में लहसुन का मूल्य ₹2,250 से ₹5,955 प्रति क्विंटल तक है।
- हिमाचल प्रदेश: ऊना मंडी में लहसुन का मूल्य ₹10,000 से ₹12,000 प्रति क्विंटल तक है।
प्याज के भाव
- मध्य प्रदेश: इंदौर मंडी में एक्स्ट्रा क्वालिटी प्याज का मूल्य ₹2,800 से ₹3,000 प्रति क्विंटल तक है।
- सुपर प्याज: ₹2,500 से ₹2,800 प्रति क्विंटल के बीच बिक रहा है।
Conclusion
लहसुन और प्याज की कीमतों में आई इस तेज़ी ने सभी को हैरान कर दिया है। उत्पादन में कमी, बढ़ती मांग और भंडारण की समस्याओं के चलते दामों में यह उछाल देखा जा रहा है। उपभोक्ताओं को सलाह दी जाती है कि वे अपने बजट का ध्यान रखते हुए खरीदारी करें, जबकि किसानों के लिए यह समय लाभदायक साबित हो सकता है।
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